*पोरा तिहार के गाढ़ा गाढ़ा बधाई*.
पोरा त्योहार *भादो माह की अमावस्या तिथि* को मनाया जाता है
इस दिन *बैलों का श्रृंगार कर उनकी पूजा* की जाती है।
बच्चे मिट्टी के बैल चलाते है
और घरों में *महिलाएं ठेठरी खुरमी व्यंजन* बनाती है
*छत्तीसगढ़ के पहले लीफ कारविंग आर्टिस्ट देवव्रत ताम्रकार पिता श्री रामकृष्ण ताम्रकार( निवास रानीतराई पाटन जिला दुर्ग) ने बनाया पत्ति पर कलाकृति*